Breaking
Sun. Dec 22nd, 2024

दिल्ली के पूर्व उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया जमानत पर रिहा

पूर्व उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के जमानत पर रिहा होने के बाद अब उनके दिल्ली सरकार में दोबारा शामिल होने को लेकर अटकलें तेज हो गई हैं। 23 फरवरी को आबकारी नीति मामले में सीबीआई द्वारा गिरफ्तार किए जाने के 5 दिन बाद 28 फरवरी को सिसोदिया ने सत्येंद्र जैन के साथ पद से इस्तीफा दे दिया था। सीएम अरविंद केजरीवाल ने शिक्षा और वित्त समेत उनके ज्यादातर विभाग आतिशी को सौंप दिए थे। इस वक्त आतिशी भले ही सरकार में नंबर 2 की पोजिशन पर हो, लेकिन सिसोदिया की तरह औपचारिक तौर पर उप-मुख्यमंत्री का दर्जा उन्हें भी नहीं दिया गया है। ऐसे में अब सिसोदिया के बाहर आने के बाद उनके फिर से सरकार में शामिल होने और दोबारा उप-मुख्यमंत्री बनाए जाने को लेकर कयास लगने शुरू हो गए हैं।

दिल्ली सरकार में वैसे भी मंत्री का एक पद खाली पड़ा हुआ है। पूर्व समाज कल्याण मंत्री राजकुमार आनंद के इस्तीफे के बाद अभी तक उनकी जगह कोई नया मंत्री नहीं बनाया गया है। इसकी एक बड़ी वजह मुख्यमंत्री केजरीवाल की गिरफ्तारी भी है। जानकारों का कहना है कि इसी के चलते अभी सिसोदिया का भी सरकार में तुरंत शामिल हो पाना संभव नहीं होगा। मंत्री परिषद में शामिल करने के लिए किसी भी मंत्री के चयन का एकमात्र अधिकार मुख्यमंत्री के पास होता है। मुख्यमंत्री ही मंत्री का चयन करके उनके नाम का प्रस्ताव एलजी को भेजते हैं। एलजी उस पर अपनी सहमति देकर प्रस्ताव को अंतिम मंजूरी के लिए राष्ट्रपति के पास भेजते हैं। राष्ट्रपति की मुहर लगने के बाद मंत्री की नियुक्ति के संबंध में नोटिफिकेशन जारी किया जाता है और फिर एलजी मंत्री को शपथ दिलाते हैं।

मुख्यमंत्री केजरीवाल अभी जेल में हैं और उन्हें जेल से सरकार चलाने या सरकार से जुड़ा कोई भी फैसला लेने की इजाजत नहीं। इसी के चलते लंबे समय से कैबिनेट की बैठक भी नहीं हो पाई है। लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान भी जब उन्हें अंतरिम जमानत मिली थी, तब कोर्ट ने उनके सचिवालय जाने, अधिकारियों की मीटिंग बुलाने, आदेश जारी करने पर रोक लगाई थी। उसी चलते केजरीवाल कोई सरकारी कामकाज नहीं कर पाए थे। हालांकि, अब सिसोदिया के मामले में ऐसी कोई रोक नहीं लगाई गई है, लेकिन अगर उन्हें मंत्रिमंडल में शामिल करना है, तो जानकारों के मुताबिक यह तभी संभव हो पाएगा, जब या तो कोर्ट इसके लिए सीएम को विशेष अनुमति दे या फिर केजरीवाल खुद जमानत पर जेल से बाहर आएं और अदालत उनके ऊपर कोई पाबंदी ना लगाए।

Related Post

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *